Thursday, May 5, 2011

बस इंतज़ार है उनका!



अपने हिस्से का प्यार संभाले बैठे है
बस इंतज़ार है उनका,
कभी मिलेंगे तो बताएँगे
कितना चाहा है हर दिन उनको

अपने हिस्से की आस लगाये बैठे है
बस इंतज़ार है उनका,
कभी मिलेंगे तो बताएँगे
कितना सताया है हर दिन मुझको

अपने हिस्से का ग़म लिए बैठे है
बस इंतज़ार है उनका,
पता है शायद साकी को
हर जाम बिना पूछे भर जाती है वोह

हर हिस्सा अधूरा है मेरा
अब बस इंतज़ार है उनका,
शायद पता है ये उन्हें
इसलिए पलकों की कतारें भीगा जाती है वोह!

- साहिल 

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